चमोली: जिले के विजार गांव की अनुसूचित जनजाति के 40 परिवार जिला प्रशासन और शासन से विस्थापन की गुहार लगा रहे हैं। ग्रामीणों का कहना है कि यदि शीघ्र उनका विस्थापन नहीं किया गया तो गावं में बड़ी दुर्घटना हो सकती है।
विजार गावं की प्रधान ग्राम प्रधान मोनिका देवी, सुरेंद्र सिंह, बसंती देवी, देवेंद्र सिंह, जगदीश सिंह, खीम सिंह, रघुवीर सिंह, कुंदन सिंह, भीमसिंह और मदन सिंह का कहना है कि घाट ब्लाॅक के विजार गांव की अनुसूचित जनजाति बस्ती में वर्ष 2013 की आपदा में दूना गदेरे के कटाव से भूस्खलन शुरु हो गया था। जिसके बाद से यहां बाढ सुरक्षा कार्य न होने से गदेरे के कटाव से अब ग्रामीणों के आवासीय भवनों की नीव खोखली हो गई है। साथ ही गदेरे के शीर्ष में बड़े-बड़े बोल्डर और पत्थर अटके हुए हैं। कहा कि बारिश के दौरान गदेरे के उफनाने पर यहां बड़ा हादसा हो सकता है। जिसे देखते हुए बारिश होने पर ग्रामीण रत्तजग्गा करने को मजबूर हैं। कहा कि मामले में प्रशासन की ओर से स्थलीय निरीक्षण के बाद भी वर्तमान तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है।